ह्यूमैनारो फाउंडेशन ने कांची-गचिबोवली क्षेत्र में पर्यावरण विनाश की निंदा की, पीएमओ को भेजा पत्र, RTI और PIL की तैयारी

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ह्यूमैनारो फाउंडेशन
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हरिओम कुमार, पटना| पर्यावरण और पशु कल्याण के लिए समर्पित गैर-लाभकारी संगठन ह्यूमैनारो फाउंडेशन हैदराबाद सेंट्रल यूनिवर्सिटी से सटे कांची गचिबोवली क्षेत्र में तेलंगाना सरकार द्वारा की गई अंधाधुंध पेड़ों की कटाई और वनस्पति हटाने की कड़ी निंदा की है। इस संबंध में फाउंडेशन के द्वारा माननीय प्रधानमंत्री व माननीय पर्यावरण मंत्री को पत्र लिखकर इस मामले में हस्तक्षेप करने का आग्रह किया गया है।

फाउंडेशन के द्वारा प्रधानमंत्री कार्यालय (PMO) और पर्यावरण मंत्रालय को पत्र भेजकर मांग की गई है कि क्षेत्र को वन क्षेत्र घोषित कर वहां पुनः वनरोपण किया जाए। फाउंडेशन के सह-संस्थापक कुमार विशाल ने कहा—

“इतने जैविक रूप से समृद्ध क्षेत्र को इस तरह नष्ट करना केवल एक पारिस्थितिकीय त्रासदी नहीं, बल्कि प्रकृति के खिलाफ एक अपराध है।”

ह्यूमैनारो फाउंडेशन
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ह्यूमैनारो फाउंडेशन ने सूचना के अधिकार (RTI) के तहत नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल (NGT) और पर्यावरण विभाग से यह जानकारी भी मांगी है कि क्या तेलंगाना सरकार ने पेड़ों की कटाई से पहले संबंधित विभागों को सूचित किया था। यदि संतोषजनक उत्तर नहीं मिलता है तो फाउंडेशन इस मुद्दे को लेकर न्यायालय में जनहित याचिका (PIL) दायर करेगा।

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सरकारी निर्णय का विरोध करने वालों में सुधीर कुमार जायसवाल, वैदेही झा, श्वेता सिंह, प्रगति मिश्रा और किशन कुमार जैसे पर्यावरण कार्यकर्ता भी शामिल हैं।